बैकुंठपुर। व्हीएसआरएस संवाददाता: जिले के बैकुंठपुर प्रखंड में ढाई महीने के दौरान चार बार बाढ़ की त्रासदी से सड़क व पुल पुलिया टूट गई है। इससे सरकार को करोड़ों का नुकसान हुआ है। बाढ़ का पानी उतरने के बाद 16 गांवों के पन्द्रह हजार की आबादी अब आवागमन की समस्या से जूझ रही है। जिन इलाकों से बाढ़ का पानी उतर चुका है। उनमें तबाही अभी भी बरकरार है।
दस दिनों तक जमींदारी बांध पर शरण ले रहे बाढ़ विस्थापित परिवार अब अपने घर लौटने लगे हैं। लेकिन घर से तटबंध या मुख्य सड़क पर आने के लिए बदहाल सड़क से गुजरना पड़ रहा है। कई सड़क बाढ़ के तेज धार में टूट गए हैं। जिन पर जलजमाव की स्थिति बरकरार है। जलजमाव के कारण टूटे सड़क पर हादसे की आशंका बनी हुई है।
ग्रामीणों के समक्ष समस्या यह है कि पहले बाढ़ के पानी के बीच नाव से आवागमन कर रहे थे। लेकिन अब पानी उतरने के बाद सड़क बदहाल होने से त्रस्त हैं। राजापट्टी-सत्तरघाट एप्रोच रोड से होकर पकहां गांव तक जाने वाली पक्की सड़क पर बने दो पुलिया ध्वस्त हो गए हैं। सड़क पर 5 से 6 फीट गड्ढे हो गए हैं। इससे दो हजार की आबादी को आवागमन में परेशानी हो रही है। महारानी जमीदारी बांध से नवसृजित प्राथमिक विद्यालय तक जाने वाली पीसीसी पथ कई जगह पर बाढ़ की वजह से टूट गई है करीब एक हजार की आबादी आवागमन का संकट झेल रही है। ग्रामीणों को संपर्क पथ पार करने के लिए नाव का सहारा लेना पड़ रहा है।
छोटे बच्चों के डूबने की आशंका को लेकर ग्रामीण हमेशा सशंकित नजर आ रहे हैं। जमीदारी बांध से सीतलपुर गांव तक जाने वाली सड़क बदहाल होने के कारण एक से अधिक की आबादी आवागमन का संकट झेल रही है। बाढ़ से बदहाल सड़कों की मरम्मत को लेकर अब तक प्रशासनिक स्तर पर कार्य शुरू नहीं किया जा सका है। जिससे ग्रामीणों की समस्या फिलहाल कम होने की उम्मीद नहीं है।