Pcmc पिंपरी(व्हीएसआरएस न्यूज) संत श्री ज्ञानेश्वर महाराज और जगद्गुरु संत तुकाराम महाराज की पालकी प्रस्थान समारोह 21 जून को होना निश्चित हुआ है। संत तुकाराम महाराज की पालकी 20 जून को देहु से पंढरपुर के लिए और संत ज्ञानेश्वर महाराज की पालकी 21 जून को आलंदी से पंढरपुर के लिए रवाना होगी। 9 जुलाई को पंढरपुर पहुंचेगी और 10 जुलाई को आषाढ़ी एकादशी है। समारोह में तीन स्थायी अखाड़े और चार गोल अखाड़े होंगे। तिथि में वृद्धि के कारण,रिंग और गोल रिंग खेल समारोह लोणंद में ढाई दिनों के लिए,पुणे,सासवड और फलटन में दो-दो दिनों के लिए आयोजित किया जाएगा, अधिवक्ता को सूचित किया। ऐसी जानकारी पालकी उत्सव समिति प्रमुख अॅड विकास ढगे ने दी।
संत ज्ञानेश्वर माउली की पालकी 21 जून को शाम 4 बजे आलंदी से रवाना होगी। उसके बाद पहला पड़ाव आलंदी के नए दर्शन मंडप में होगा। बुधवार (22 तारीख) सुबह आलंदी से पंढरपुर के लिए रवाना होगी और दो दिन पुणे में रुकेगी। सासवड (24 और 25 जून), जेजुरी (26 जून),वाल्हे (27 जून)। दोपहर के भोजन के बाद,पालकी लोनावाला से तड़गांव (30 जून) तक त्योहार के पहले खड़े अखाड़े चांदोबाचा लिम्बला के लिए रवाना होगी। फलटन (1 और 2 जुलाई), बरड (3 जुलाई),नातेपुते (4 जुलाई) विश्रांति के बाद पहला गोल रिंग पुरंदवड़े में खेला जाएगा और समारोह 5 जुलाई को मालशीरस में समाप्त होगा। सुबह का दूसरा राउंड खुडुस फाटा में खेला जाएगा।
समारोह का तीसरा दौर ठाकुरबुवाची समाधि और टप्पा में दसुर फाटा में आयोजित किया जाएगा। भांडिशेगांव भोजन के बाद वाखरी में दूसरा स्टैंडिंग अखाड़ा (गुरुवार 8) और चौथे राउंड अखाड़े के बाद वखरी में समारोह होगा। समारोह तीसरे खड़े अखाड़े के बाद पंढरपुर (गुरुवार 9) में प्रवेश करेगा और वाखरी में दोपहर के भोजन के बाद पादुका की आरती होगी। आषाढ़ी एकादशी (10 जुलाई) को नगरप्रदक्षिणा,चंद्रभागा स्नान नामक कार्यक्रम है। उसके बाद 13 जुलाई को चंद्रभागा स्नान,विट्ठल-रुक्मणी भेंट होना है। उसके बाद पालकी आलंदी की ओर लौटेगा। पालकी 23 जुलाई को आलंदी पहुंचेगी।