Bihar News दानापुर/पटना/पुणे(व्हीएसआरएस न्यूज) बिहार के आरजेडी विधायक और सीनियर आईएएस अधिकारी ने मिलकर एक महिला के साथ गैंगरेप किया। पहले बिहार,फिर पुणे के एक होटल और फिर दिल्ली के दो होटलों में बारी बारी से रेप किया। महिला बच्चे को जन्म दिया तो बच्चे का बाप कौन? इस बात पर विवाद खडा हुआ। महिला मीडिया के माध्यम से अपनी बात रख रही थी लेकिन रसुकदारों ने आवाज को कई सालों तक दबाते आए। इलाहाबाद की एक महिला वकील ने जब मामले को दमदार तरीके से उठाई तो होटलों रहने के सारे राज से पर्दा हटा। आखिरकार कोर्ट को दोनों के विरुद्ध अपराध दर्ज करके कार्रवाई करने का आदेश सुनाना पडा।
दानापुर एसीजेएम कोर्ट ने दोनों पर एफआईआर दर्ज करने का आदेश दिया
पहले उसने खुद मामले को संभालने की कोशिश की। जब बात पटरी पर नहीं आई और बेटे को अपनाने के लिए वह राजनेता राजी नहीं हुआ तो महिला ने मीडिया का सहारा लिया। मीडिया के जरिए जनता तक बात पहुंचाई कि कैसे राष्ट्रीय जनता दल के तत्कालीन विधायक गुलाब यादव ने राज्य महिला आयोग में पद दिलाने का झांसा देकर अपने पास बुलाया, फिर खुद रेप किया, फिर शादी का झांसा देकर होटल में मिलने बुलाया और वहां भारतीय प्रशासनिक सेवा अधिकारी संजीव हंस के साथ मिलकर गैंगरेप किया और उसके बाद इन्हीं वाकयों का वीडियो दिखाकर ब्लैकमेल करते हुए यौन शोषण जारी रखा। महिला खुद वकील है, इसलिए उसने लड़ाई जारी रखी। जो पुलिस उसकी बात नहीं सुन रही थी, उसी को जांच करनी पड़ी और स्वीकार करना पड़ा कि महिला ने जिस होटल में रेप की बात कही, उस होटल में उस दिन तत्कालीन एमएलए और सीनियर आईएएस मौजूद थे। अब दानापुर एसीजेएम कोर्ट ने दोनों पर एफआईआर दर्ज करने का आदेश दिया है।
2016 से 2018 तक शोषण होता रहा, 2021 में खुलकर मोर्चा खोला
पुलिस की प्राथमिक जांच रिपोर्ट में पुष्टि हो गई कि आईएएस अधिकारी संजीव हंस और गुलाब यादव पीड़ित महिला के साथ दिल्ली के एक होटल में उस दिन और समय मौजूद थे, जिसका विवरण महिला ने कोर्ट को दिया था। 2017 से चल रहे शोषण पर अंतत: 2021 में महिला ने मोर्चा खोला। अब दानापुर कोर्ट ने पटना के रूपसपुर थाना में पूर्व विधायक और राज्य के सीनियर आईएएस अधिकारी पर केस दर्ज करने का आदेश दिया है। इलाहाबाद हाईकोर्ट की महिला वकील की ओर से दायर याचिका पर शनिवार को दानापुर व्यवहार न्यायालय के एसीजीएम नवीन कुमार श्रीवास्तव ने यह आदेश दिया। महिला वकील का आरोप है कि 2016 से 2018 के बीच इन दोनों ने घिनौनी हरकत की। पीड़िता ने याचिका में कहा है कि फरवरी 2016 में वह पटना के गर्दनीबाग में रहने वाले एक सीनियर वकील के पास आई थी। यहीं पर गुलाब यादव से परिचय हुआ था, जो उस वक्त झंझारपुर से राजद के विधायक थे। सत्तारूढ़ दल के विधायक गुलाब ने महिला वकील को राज्य महिला आयोग में सदस्य बनाने का झांसा दिया था। महिला के अनुसार, गुलाब के आवास पर बायोडाटा लेकर गई थी। आवास में उसने रेप करने की कोशिश की थी। विरोध करने पर पिस्टल के बल पर रेप किया। विधायक पर जब केस करने की तैयारी की तो उसकी मांग में सिंदूर भर कर कहा कि दोनों पति पत्नी हैं। फिर गुलाब ने उसे पुणे बुलाया। कहा कि उसका पहली पत्नी से तलाक हो गया है और उसके पेपर उसके पास हैं।सीनियर आईएएस संजीव हंस इन आरोपों पर बात करने से भी बचते रहे हैं।
आरोप- आईएएस से परिचय कराया, फिर नशे की दवा खिला गैंगरेप
8 जुलाई 2017 को वह पुणे के होटल में गई। वहां विधायक ने सीनियर आईएएस अधिकारी संजीव हंस से परिचय कराया। फिर दोनों ने लंच के दौरान नशीला पदार्थ खिलाने के बाद गैंगरेप करते हुए अश्लील वीडियो बना लिया। मोबाइल पर वीडियो भेज कर ब्लैकमेल किया जाता रहा। इसी दौरान महिला ने गर्भवती होने की जानकारी गुलाब यादव को दी। बाद में गुलाब ने अक्टूबर 2017 में पीड़िता का एडमिशन दिल्ली के जुडिशल क्लासेज में करा दिया। हालांकि, गुलाब हमेशा वीडियो वायरल करने का धमकी देता था। 13 फरवरी 2018 को दिल्ली के अशोका होटल में, 14 फरवरी को दिल्ली के पार्क एवेन्यू होटल में और 27 मार्च 2018 को ली मेरिडियन में दुष्कर्म किया। महिला के अनुसार, गुलाब के साथ संजीव भी रहते थे। याचिका के अनुसार, विधायक और आईएएस दोनों गर्भपात कराने और जान से मारने की धमकी देते थे। 25 अक्टूबर 1018 को महिला ने बेटे को जन्म दिया। जब गुलाब को जानकारी दी तो उसने कहा कि यह उसका बेटा नहीं। महिला ने सारे रास्ते बंद देख 2021 में मीडिया के जरिए सारी बात रखी, हालांकि तब भी कोई फायदा नहीं हुआ। अब वह बेटे का डीएनए टेस्ट भी कराना चाहती है, ताकि साबित हो सके कि उसका पिता कौन है?