पटना(व्हीएसआरएस न्यूज) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को बिहार में ऐतिहासिक कोसी रेल महासेतु समेत रेलवे की 12 परियोजनाओं का उद्घाटन किया। उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं से राज्य में संपर्क और समृद्धि का एक नया मार्ग प्रशस्त होगा। यह पुल मिथिला,कोसी और सीमांचल के साथ-साथ पूर्वोत्तर भारत के राज्यों को जोड़ेगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेन्सिंग के जरिये रिमोट का बटन दबा कर परियोजनाओं को राष्ट्र को समर्पित किया. साथ ही प्रधानमंत्री सहरसा-असनपुर कुपहा रेल सेवा को हरी झंडी दिखा कर शुरू किया।आज बिहार में रेल कनेक्टिविटी के क्षेत्र में नया इतिहास रचा गया है। कोसी महासेतु और किउल ब्रिज के साथ ही बिहार में रेल यातायात, रेलवे के बिजलीकरण,रेलवे में मेक इन इंडिया को बढ़ावा,नये रोजगार पैदा करनेवाले एक दर्जन परियोजनाओं का आज लोकार्पण और शुभारंभ हुआ है। मिथिला और कोसी को जोड़नेवाला रेलपुल बिहारवासियों को समर्पित है।
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने मुझे रेलमंत्री बनाया था. उस समय जून 2003 में ही कोसी महासेतु का शिलान्यास किया था। साथ ही तत्कालीन प्रधानमंत्री वाजपेयी ने मैथिली भाषा को आठवीं अनुसूची में शामिल करने का आश्वासन दिया था,जिसे शामिल कर लिया गया है। आज पूर्व पीएम अटल जी का कोसी महासेतु का सपना साकार हुआ है।
कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने प्रधानमंत्री से कहा कि बिहार ने देश को आठ रेल मंत्री दिये हैं. आज के कार्यक्रम से बिहार में पर्यटन क्षेत्र को बढ़ावा मिलेगा। साथ ही कहा कि लॉकडाउन के दौरान बिहार के मजदूर अन्य राज्यों में फंसे हुए थे। उस समय आपने मजदूरों के लिए स्पेशल श्रमिक ट्रेनें चलायींं। 1371 स्पेशल ट्रेन से 19 लाख 72 हजार लोगों को निःशुल्क उन्हें उनके घरों तक पहुंचाने का काम किया।
केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने कहा कि स्वामी विवेकानंद के बचपन का नाम नरेंद्र था. एक नरेंद्र ने भारत को विश्व गुरु बनने का सपना देखा था,आज एक नरेंद्र उनके सपनों को पूरा कर रहे हैं। वहीं, रेल मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि आज का दिन बिहार के इतिहास में स्वर्णिम दिन साबित होनेवाला है। 1934 के भूकंप ने बिहार के कोसी क्षेत्र को मिथिलांचल से अलग कर दिया। उसी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अथक प्रयासों से आज फिर जोड़ा जा रहा है। उन्होंने कहा कि 86 वर्षों तक बिहार के निवासी कोसी नदी पार करने के लिए लंबी दूरी की यात्रा करते थे, उनका सफर अब सरल हो गया है।
मिथिलांचल और कोसी क्षेत्र को जोड़ने के लिए सुपौल-आसनपुर कुपहा के बीच ट्रेन सेवा का शुभारंभ द्वारा किया जा रहा है। कोसी रेलमहासेतु कृषि प्रधान बिहार के विकास में अहम भूमिका निभानेवाला है। इससे प्रदेश की सामाजिक और आर्थिक गतिविधियों में वृद्धि होगी। यह सेतु सिर्फ दो स्थानों को ही नहीं जोड़ेगा,बल्कि आपके अपनों को भी नजदीक लायेगा।