पिंपरी(व्हीएसआरएस न्यूज) महाराष्ट्र के पुणे और पिंपरी चिंचवड शहर में आज कोरोना वैक्सीन का ड्राई रन किया गया गया। इस ड्राई रन में पुणे औंध जिला अस्पताल में 25 लोगों पर यह ड्राई रण किया गया। शहर में तीन सेंटर्स पर और हर सेंटर पर 25-25 लोगों को वैक्सीन की पहली ’डमी’ खुराक दी गई। पिंपरी के जिजामाता हॉस्पिटल में ट्रायल हुआ।
कैसे होती है ड्राई रन की प्रक्रिया
ड्राई रन एक मॉक ड्रिल प्रक्रिया है जिसमें वैक्सीनेशन के आने के बाद क्या दिक्कतें आ सकती हैं, इसका पता लगाया जाता है। इसमें वैक्सीन के लिए कोल्ड स्टोरेज और ट्रांसपोर्टेशन की रियल-टाइम ट्रैकिंग भी शामिल है। ड्राई रन के दौरान कोविड वैक्सीन को लेकर जरूरी डेटा एंट्री होगी। इस अभियान के तहत ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर वैक्सीन टेस्टिंग,वैक्सीन डिलीवरी,इसकी रिसिप्ट और अलॉटमेंट,टीम मेंबर्स का एप्वाइंटमेंट,साइट्स पर मॉक ड्रिल की निगरानी की जाएगी।
औंध,जिजामाता और मान के अस्पतालों में ड्राई रन
पुणे के औंध जिला अस्पताल में ड्राई रन ट्रॉयल पूरा हुआ। पिंपरी चिंचवड़ के जिजामाता और मान के अस्पतालों में भी यह प्रक्रिया संपन्न हुई। तीनों अस्पतालों में पंजीकृत 75 स्वास्थ्य कर्मचारियों पर ट्रायल किया गया। हालांकि अभी तक कोविड का कोई टीकाकरण नहीं किया गया है। कोराम शुष्क रन का संचालन राज्य के चार जिलों में किया गया था,जब प्रशासन ने सिरम संस्थान के कोविड के टीके को हरी झंडी दी है। आज सुबह 9 बजे से 11 बजे के बीच पुणे के औंध जिला अस्पताल में,पिंपरी-चिंचवड़ के जीजामाता अस्पताल और मान के ग्रामीण अस्पताल में ड्राई रन का आयोजन किया गया।
डमी ड्राई रन के कर्मचारी पहले से थे पंजिकृत
जिन स्वास्थ्य कर्मचारियों पर डमी रन लिया गया था वे पहले से ही जिला प्रशासन द्वारा कोरोना टीकाकरण के लिए बनाई गई वेबसाइट पर पंजीकृत थे। उनका साक्षात्कार लिया जाता है,फिर टीकाकरण स्थल पर बैठाया जाता है और समीक्षा की जाती है कि क्या कठिनाइयाँ हैं। इस बीच, टीकाकरण के बाद, व्यक्ति को आधे घंटे के लिए डॉक्टर की निगरानी में रखा जाता है। यह सब प्रक्रिया आज केवल एक डमी चलाने के रूप में संचालित हुई है। वास्तव में अभी तक किसी को भी टीका नहीं लगाया गया है। तीनों केंद्रों पर स्वास्थ्य अधिकारी मौजूद थे।