मुंबई(व्हीएसआरएस न्यूज) महाराष्ट्र अब क्या राष्ट्रपति शासन की ओर धीरे धीरे आगे बढ रहा है? इस सवाल का जवाब हर कोई जानना चाहता है। जी हां! भाजपा इस दिशा में सक्रिय हो गई है। पूर्व मुख्यमंत्री द्ेवेंद्र फडणवीस और प्रदेश भाजपा अध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल के नेतृत्व में आज भाजपा नेताओं का एक शिष्टमंडल राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी से मिला और राष्ट्रपति शासन लगाने फिर मध्यावधि चुनाव कराने के बिंदुओं पर विचार करने का आग्रह किए।
100 करोड की वसूली,पुलिस महकमे के आला अधिकारियों का ट्रांसफर,परमबीर सिंग का लेटर बम से उद्धव ठाकरे संकट में घिरी है। लेकिन सबसे ज्यादा किरकिरी राष्ट्रवादी कांग्रेस की हो रही है। क्योंकि गृहमंत्री अनिल देशमुख पर सीधे तौर पर पैसे वसूलने का आरोप लगा है। भाजपा कानून व्यवस्था का मुद्दा महाराष्ट्र से लेकर दिल्ली तक उठाकर ठाकरे सरकार को घेर रही है।
महाराष्ट्र के भाजपा नेता पहले प्लान ए के तहत प्रयास कर रहे थे लेकिन जब बात नहीं बनी तो प्लान बी का पत्ता चला दिया है। प्लान ए में अजित पवार को सरकार और राष्ट्रवादी से तोडकर भाजपा के साथ मिलकर सरकार बनाना था। लेकिन राकांपा के विधायक जब नहीं टुटे और अजित पवार भी अपनी बार बार किरकिरी कराने से इंकार कर दिया तो प्लान बी में राष्ट्रपति शासन लगाकर मध्यावधि चुनाव कराने की चाल चली गई। आज भाजपा का शिष्टमंडल राज्यपाल से मिला वो प्लान बी का हिस्सा माना जा रहा है।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल को भी बदलने की कवायद शुरु है। सुधीर मुनगंटीवार को भाजपा का नया प्रदेश अध्यक्ष बनाया जा सकता है। देवेंद्र फडणवीस को भी केंद्र में मंत्री बनाए जाने की चर्चा लंबे अर्से से चल रही है। लेकिन अब समीकरण बदला बदला नजर आ रहा है। देवेंद्र फडणवीस ही ऐसा भाजपा के पास तुरुक का पत्ता है जो महाराष्ट्र की राजनीति की करवट बदलने में सक्षम है। भाजपा को इस बात का मलाल है कि सबसे ज्यादा 105 सीट जीतने के बाद भी वो विपक्ष में बैठी है। शिवसेना 56,राकांपा 54,कांग्रेस 44 सीटें जीती थी। आपको यह भी बताते चलें कि महाराष्ट्र में पहली बार 1980 में राष्ट्रपति शासन लगाया गया था उस समय राज्यपाल सादिक अली थे। महाराष्ट्र में शरद पवार की अगूवाई वाली पुरोगामी लोकशाही दल की सरकार थी। दूसरी बार राष्ट्रपति शासन 2014 में लगा। पृथ्वीराज चव्हाण मुख्यमंत्री थे। तीसरी बार राज्यपाल भगतसिंग कोश्यारी की सिफारिश पर 12 नवंबर 2019 से 23 नवंबर 2019 तक लगा था।