पटना| व्हीएसआरएस न्यूज: विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव इस बार कुछ ज्यादा ही सक्रिय दिख रहे हैं। कई सत्रों के बाद पहली बार देखा गया कि वह पूरे सत्र पटना में ही रहे। पैर में मोच आने से पहले पूरे दिन सदन में बैठे। हिस्सा लिया। जबकि इसके पहले के कई सत्रों का नजीर है कि तेजस्वी सदन से दूर-दूर रहते थे। यहां तक कि कई बार बिहार से बाहर भी चले जाते थे, जिसके चलते अक्सर विरोधी दलों के निशाने पर भी आ जाते थे। परंतु अबकी अपने दल के मुद्दों पर खुद भी संजीदा हैं और पार्टी को भी सक्रिय कर रखा है।
दो दिन बाद विधानसभा का घेराव
दो दिन बाद 23 मार्च को राज्य में बेरोजगारी, अपराध एवं कानून-व्यवस्था के मुद्दे पर विधानसभा का घेराव है, जिसे कामयाब करने की कोशिश की जा रही है। टास्क युवा राजद को दिया गया है। मगर नेता प्रतिपक्ष खुद तैयारियों की समीक्षा और निगरानी कर रहे हैैं।
बजट सत्र के दौरान तेजस्वी यादव ने जिस तरीके से सदन में रहकर सत्ता पक्ष को घेरा, सार्थक विमर्श में हिस्सा लिया और जरूरत पडऩे पर तेवर भी दिखाए, उसका साफ संकेत है कि आने वाले दिनों में राजद अपनी भूमिका को और सकारात्मक करने जा रहा है। यह सत्ता पक्ष की सेहत के लिए अच्छा संकेत हो न हो, लेकिन लोकतंत्र को ऊर्जा मिलनी तय है। क्योंकि विपक्ष की सकारात्मक सक्रियता से सत्ता पक्ष पर भी दबाव पड़ता है।
घेराव को यादगार बनाने की तैयारी
आपको बताते चले कि जनसरोकार के मुद्दे पर विधानसभा के प्रस्तावित घेराव को राजद यादगार बनाने की तैयारी में जुटा हुआ है। युवा राजद के प्रदेश प्रवक्ता अरुण कुमार यादव ने बताया कि इसके लिए प्रदेश से लेकर पंचायत स्तर तक जागृति अभियान चलाया जा रहा है। राजद नेता का दावा है कि 23 मार्च को राजधानी पटना की सड़कों पर बड़ी संख्या में कार्यकर्ताओं की भीड़ जुटेगी। इसके लिए सभी जिलों में प्रभारी नियुक्त किए गए हैैं। बैठकों का दौर चल रहा है। नुक्कड़ सभाओं एवं जनसंपर्क अभियान के जरिए लोगों को बताया जा रहा कि सरकार की नीतियां कितना जनविरोधी है।