Pune News पुणे(व्हीएसआरएस न्यूज) अवैध साहूकारों को रोकने के लिए जिला कलेक्टर ने अपील की है कि पुणे पुलिस की मदद से प्राथमिकी दर्ज की जाए। कलेक्टर डॉ. राजेश देशमुख ने ऐसा आदेश किया है। कलेक्टर ने निर्देश दिये कि सहकारिता विभाग के प्रत्येक सहायक पंजीयक को यथासम्भव चैक किया जाये और अपराधों की उचित तरीके से रजिस्ट्री सुनिश्चित की जाये।
महाराष्ट्र साहूकार नियमन अधिनियम को लेकर समिति की बैठक कलेक्टर डॉ.राजेश देशमुख की अध्यक्षता में संपन्न हुई। इस अवसर पर पुणे शहर के जिला उप पंजीयक,सहकारी समिति नारायण अघाव,पुणे शहर पुलिस आयुक्तालय अपराध शाखा के पुलिस उपायुक्त श्रीनिवास घडगे,पिंपरी चिंचवड़ पुलिस आयुक्तालय की पीसीएमसी अपराध शाखा सहायक आयुक्त पद्माकर घनवट,पुणे बालासाहेब तावरे,जिला उप पंजीयक ग्रामीण के साथ पुणे शहर में सहकारी समितियों के उप पंजीयक उपस्थित थे।
कलेक्टर के पास साहूकार से क्रय आदेश निरस्त करने का अधिकार है। देशमुख ने कहा पीड़ित नागरिकों को अवैध साहूकारों के खिलाफ शिकायत करने के लिए आगे आने के लिए व्यापक जन जागरूकता की आवश्यकता है। शिकायतकर्ताओं के बीच यह विश्वास पैदा करना आवश्यक है कि उनकी शिकायत पर गंभीरता से विचार किया जाएगा। इस अधिनियम के अंतर्गत सहकारिता विभाग के पास व्यापक शक्तियाँ हैं और इस विभाग के पास ब्याज के पैसे के बदले खरीदीखत(जमींन सेलडीड) को रद्द करने की भी महत्वपूर्ण शक्तियाँ हैं। इन अधिकारों का इस्तेमाल आम लोगों को न्याय दिलाने के लिए किया जाना चाहिए।
आपको बता दें कि ग्रामीण क्षेत्रों में ऐसा देखा गया है कि किसान वर्ग साहूकारों से व्याज पर पैसे लेते हैं और किसी कारणवश वापस नहीं कर पाते। ऐसी स्थिति में साहूकार किसान की मजबुरी का फायदा उठाते हैं और व्याज और मूल रकम के बदले जमींन अपने नाम करा लेते है। इसी संदर्भ में जिलाधिकारी ने बैठक में संबंधित सभी विभाग के अधिकारियों को सक्रिय करते हुए साहूकारों पर अपराध दर्ज करने और जमींन पंजिकरण को रद्द करने का आदेश दिया है।
जिले में 1 हजार 456 लाइसेंसी निजी साहूकार
इस अवसर पर नारायण आघव ने बताया कि अवैध साहूकारों को रोकने के लिए सभी तहसीलों में स्थायी भरारी दल नियुक्त किए गए हैं।
पुलिस,सहकारिता विभाग और राजस्व विभाग के समन्वय से काम चल रहा है। यह मामला पहले आरोपित था। लेकिन अब जैसा कि कानून में संशोधन किया गया है और इसे ध्यान में लाया गया है, जिले में 1 हजार 456 लाइसेंसधारी निजी साहूकार हैं,जिनमें से 404 लाइसेंसों का नवीनीकरण किया जा चुका है और 982 लंबित हैं। सहायक कुलसचिव को इस संबंध में त्वरित कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं।