पुणे(व्हीएसआरएस न्यूज) यह हमेशा कहा जाता है कि आपके इलाज के लिए सबसे अच्छा डॉक्टर ढूंढना मुश्किल है। इसी तरह ऐसे डॉक्टरों को भूलना भी नामुमकिन है। यह वाक्य बिल्कुल डॉ.के एच.संचेती प्रसिद्ध ऑस्टियोलॉजिस्ट जो अपने 87 वें वसंत बहार में पदार्पण किया। डॉ.के.एच संचेती को पद्मश्री,पद्म भूषण और पद्म विभूषण के सर्वोच्च पुरस्कारों से सम्मानित किया गया है। चिकित्सा क्षेत्र में एक हड्डी रोग विशेषज्ञ के रूप में काम करते हुए, उन्होंने लाखों रोगियों के मन में एक विशेष स्थान बनाया है। आज ही के दिन 2021 में उन्होंने अपने मेडिकल करियर की आखिरी सर्जरी की थी। उसके बाद डॉ.के.एच.केवल इस क्षेत्र में मरीजों की जांच के लिए अलर्ट सक्रिय हैं।
डॉ.के एच.संचेती 57 वर्षों में 55,000 सर्जरी की -डॉ.पराग संचेती
उन्होंने पिछले 57 वर्षों में 55,000 सर्जरी की हैं। इस साल उनका जन्मदिन और साथ ही गुरुपूर्णिमा हाल ही में इसी महीने में संपन्न हुआ। उस अवसर पर डॉ.पराग संचेती के साथ एक साक्षात्कार लिया गया। उनके पुत्र और शिष्य डॉ.संचेती अस्पताल के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक पराग संचेती का कहना है कि ’मेरे और सर के बीच गुरु-शिष्य संबंध वास्तव में तब शुरू हुए जब मैंने चिकित्सा क्षेत्र में अध्ययन करना शुरू किया। इतने वर्षों के अपने करियर के दौरान,वह सामान्य रोगियों से भी जुड़े। जब मरीज इलाज के लिए उनके पास आते हैं, तो उनके चेहरे पर संतुष्टि का भाव होना चाहिए। सर ने हमें यह सबसे बड़ा सबक दिया। साथ ही मेडिकल लाइफ के अलावा कोई तनाव हो तो ऐसी स्थिति में भी डॉ.संचेती सतर्क रोगियों की जांच करते समय वे यह सब भूल जाते हैं। अपने काम में पूर्ण सामंजस्य स्थापित करें। मरीजों की जांच के बाद उन्हें ठीक किया जाता है। मैं अभी भी यह बात सर से सीख रहा हूं।’
मेडिकल लाइफ और पर्सनल लाइफ अलग होना चाहिए-डॉ.के,एच,संचेती
चिकित्सक के रूप में डॉ.के.एच. संचेती कहते हैं,’हमें अपनी मेडिकल लाइफ और पर्सनल लाइफ को अलग रखना चाहिए। मरीज का दर्द और दर्द हमारे दिमाग में ज्यादा देर तक नहीं रहता। क्योंकि हम अन्य सभी रोगियों के साथ समान गर्मजोशी और जुनून के साथ व्यवहार करना चाहते हैं। इस वजह से हर मरीज हमें देखना चाहता है और हमारे साथ सबसे सकारात्मक तरीके से व्यवहार करना चाहिए।’ पराग संचेती कहते हैं,’मरीज अक्सर कहते हैं कि हम डॉक्टर के तौर पर उनके लिए भगवान तुल्य हैं। लेकिन सभी मरीज हमारे लिए भगवान के समान हैं। उनके दर्द को दूर करने के लिए हम एक तरह से भगवान की पूजा करते हैं। डॉ.के.एच संचेती इतने सालों तक इस फील्ड में रहने के बावजूद संचेती कभी नहीं थकते। मुख्य कारण यह है कि प्राणायाम, योग एक दैनिक व्यायाम दिनचर्या है और कोई इसे कभी नहीं छोड़ता है। इसलिए उनके मन और शरीर का स्वास्थ्य अच्छा रहता है।’
डॉ.के.एच.संचेती अन्य डॉक्टरों के एक रोल मॉडल
डॉ.के.एच. संचेती को आज चिकित्सा क्षेत्र में एक रोल मॉडल के रूप में देखा जाता है। उन्होंने निजी जीवन और चिकित्सा जीवन के बीच बहुत अच्छा संतुलन हासिल किया है। उन्होंने हमेशा परिवार, रिश्तेदारों और मरीजों को समान महत्व दिया है। इस क्षेत्र में नए और मौजूदा डॉक्टरों के लिए डॉ.के.एच. संचेती कहते हैं, ’एक डॉक्टर के रूप में हमेशा ईमानदारी,क्षेत्र का या प्रत्येक रोगी का दैनिक अध्ययन,और हर दिन कुछ नए तरीके से एक ही काम करने की क्षमता पैदा करने का प्रयास करना चाहिए।’ इस महान व्यक्तित्व को जन्मदिन की शुभकामनाएं और कोटि कोटि वंदन।