पिंपरी(व्हीएसआरएस न्यूज) यह पता चला है कि पिंपरी पुलिस कमिश्नरेट में कार्यरत एक पुलिस कर्मचारी ने 300 करोड़ रुपये की क्रिप्टोकरेंसी और 8 लाख रुपये की फिरौती के लिए एक व्यक्ति का अपहरण कर लिया है। पुलिस अधिकारी का नाम दिलीप तुकाराम खंडारे है। विनय नाम के शख्स का 8 लोगों ने अपहरण कर लिया था। हालांकि कुछ घंटों बाद यह महसूस करने के बाद कि पुलिस उसकी तलाश में है,अपहृत व्यक्ति को छोड़ दिया गया। यह पता चला कि आरोपियों ने 300 करोड़ रुपये की क्रिप्टोकरेंसी और 8 लाख रुपये की फिरौती की चोरी की थी। वाकड पुलिस ने मुख्य आरोपी दिलीप खंडारे समेत कुल 8 लोगों को हथकड़ी लगाई है। ज्यादातर आरोपी आपराधिक पृष्ठभूमि से हैं। मामले के मुख्य आरोपी दिलीप तुकाराम खंडारे,सुनील राम शिंदे,वसंत श्याम चव्हाण,फ्रांसिस टिमोथी डिसूजा,मयूर महेंद्र शिर्के,प्रदीप काशीनाथ काटे,संजय उर्फ निकी राजेश बंसल और शिरीष चंद्रकांत खोत हैं।
ऐसी जानकारी प्रेस वार्ता में पुलिस कमिश्नर कृष्ण प्रकाश ने दी। इस अवसर पर वाकड पुलिस थाने के वरिष्ठ पुलिस निरिक्षक डॉ. विवेक मुगलीकर,सहायक पुलिस निरिक्षक अभिजीत जाधव और उनकी पूरी टीम उपस्थित थी। पुलिस आयुक्त कृष्ण प्रकाश ने बताया कि ताथवडे के एक होटल से 8 लोगों ने विनय का अपहरण किया था और अलीबाग के एक होटल में कैद करके रखा गया।
पुलिस पीछा कर रही,इस डर से अपहत को छोड़ा
पुलिस के मुताबिक विनय नाम के शख्स का 14 जनवरी को अपहरण कर लिया गया था। वाकड थाने में शिकायत दर्ज कराई गई है। तद्नुसार अपराध की गंभीरता को समझते हुए वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक डॉ.विवेक मुगलिकर के मार्गदर्शन में 2 दस्ते बनाए गए। पुलिस ने मोबाइल और सीसीटीवी के आधार पर कई दौर की जांच पड़ताल की। यह महसूस करने पर कि पुलिस पीछा कर रही है,आरोपी ने विनय नाम के अपहृत व्यक्ति को छोड़ दिया। इस व्यक्ति को अलीबाग से ढूंढ निकाला गया।
300 करोड़ क्रिप्टोक्यूरेंसी और फिरौती के लिए 8 लाख रुपये का अपहरण
विनय ने पुलिस को बताया कि क्रिप्टोकरंसी में 300 करोड़ रुपये और फिरौती के रूप में 8 लाख रुपये के लिए उसका अपहरण किया गया था। इस बीच वाकड पुलिस ने मामले में आरोपी सुनील राम शिंदे,वसंत श्याम चव्हाण, फ्रांसिस टिमोथी डिसूजा और मयूर महेंद्र शिर्के को गिरफ्तार किया। उसने अपराध कबूल कर लिया और जांच में आगे खुलासा हुआ कि विनय का अपहरण पुलिस कर्मियों दिलीप तुकाराम खंडारे और प्रदीप काशीनाथ काटे के निर्देश पर किया गया था। इसी के तहत दोनों को गिरफ्तार कर लिया गया।
पिंपरी-चिंचवड़ पुलिस कमिश्नरेट मुख्यालय में कार्यरत आरोपी पुलिस कर्मी
चौंकाने वाली बात यह है कि दिलीप तुकाराम खंडारे पिंपरी-चिंचवड़ पुलिस कमिश्नरेट के मुख्यालय में कार्यरत हैं। इससे पहले वह पुलिस कमिश्नरेट में साइबर क्राइम सेल में कार्यरत था। तभी उसे पता चला कि अपहृत विनय के पास 300 करोड़ रुपये की क्रिप्टोकरेंसी है। इसी के तहत आरोपी पुलिस कर्मी ने विनय को प्रदीप काशीनाथ काटे के साथ मिलकर 300 करोड़ रुपये 8 लाख रुपये में अगवा कर लिया था। पीड़ित विनय से क्रिप्टोकरंसी और फिरौती के पैसे लेने की योजना बनाई। हालांकि पुलिस अधिकारी दिलीप खंडारे की योजना को आखिरकार पुलिस ने नाकाम कर दिया। इस बीच पुलिस ने कहा है कि इस मामले में कुछ और लोगों के नाम सामने आने की संभावना है।
यह कार्रवाई पुलिस आयुक्त कृष्ण प्रकाश,अप्पर आयुक्त डॉ. संजय शिंदे,उपायुक्त आनंद भोइटे,सहायक आयुक्त श्रीकांत डिसले के मार्गदर्शन में वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक डॉ.विवेक मुगलिकर,पुलिस निरिक्षक(अपराध) संतोष पाटिल,पुलिस निरिक्षक(अपराध-2) रामचंद्र घाडगे,सहायक निरिक्षक संतोष पाटिल,सहायक पुलिस निरीक्षक अभिजीत जाधव,उपनिरिक्षक गणेश तोरगल,सहायक फौजदार विभिषण कान्हेरकर,बाबाजान इनामदार,राजेंद्र काले,बापूसाहेब धूमाल,विक्रम कुदल,विजय गंभीरे,दिपक साबले,बंदु गिरे,अतिश जाधव,प्रमोद कदम,अतिक शेख,प्रशांत गिलबिले,विक्रांत चव्हाण,कल्पेश पाटिल,कौंतेय खराडे,अजय पल्ले,नुतन कोंडे की टीम ने की।