दिल्ली। व्हीएसआरएस न्यूज: दिपेरारिवलन के वकील वरिष्ठ अधिवक्ता गोपाल शंकरनारायणन ने कहा कि न्यायमूर्ति एलएन राव की अध्यक्षता वाली तीन-न्यायाधीश पीठ ने यह आदेश दिया था कि उनका पैरोल आज समाप्त हो रहा है। उन्हें चिकित्सा जांच के लिए पहले से निर्धारित अदालत द्वारा 9 से 23 नवंबर तक के लिए पैरोल दी गई थी। लेकिन चूंकि उसे पुलिस एस्कॉर्ट उपलब्ध नहीं कराया गया था, इसलिए वह इसे करवाने में असमर्थ था। यह शीर्ष अदालत को सूचित किया गया था जिसने राज्य सरकार को पुलिस एस्कॉर्ट प्रदान करने का निर्देश दिया था और एक सप्ताह के लिए उसकी पैरोल बढ़ा दी थी।
यह आदेश पेरारीवलन द्वारा दायर एक याचिका पर आया था जिसमें उन्होंने 2015 के बाद से राज्यपाल के पास लंबित अपनी दलील याचिका पर देरी को चुनौती दी थी। वही तमिलनाडु सरकार ने पहले अदालत को सूचित किया था कि राज्यपाल ने केंद्रीय गृह मंत्रालय से एक याचिका की प्रतिक्रिया के लिए रिपोर्ट मांगी थी क्योंकि सितंबर 1991 में राजीव गांधी की हत्या के संबंध में सीबीआई द्वारा बहु-अनुशासनात्मक जांच बड़ी साजिश पर चल रही है।
आपकों बताते चलें कि उन्होने कोर्ट से सीबीआई से इसकी बड़ी साजिश की जांच में प्रगति पर जवाब मांगा था। सीबीआई ने पिछले हफ्ते एक हलफनामा दायर किया जिसमें अदालत को सूचित किया गया था कि जांच का पेरारिवलन की पुनर्विचार याचिका से कोई लेना-देना नहीं है क्योंकि जांच का दायरा पहले से ही दोषी पाए गए लोगों के अलावा अन्य लोगों के खिलाफ था।